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India News: पहलगाम हमले पर संसद का विशेष सत्र चाहता INDIA गठबंधन, सरकार पर उठाए सवाल

India News : देश में इस वक्त माहौल गरम है। एक तरफ अमरनाथ यात्रा शुरू हो चुकी है, वहीं दूसरी ओर कश्मीर के पहलगाम इलाके में हाल ही में हुए आतंकवादी हमले ने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया है। इस हमले में निर्दोष यात्रियों की मौत ने सुरक्षा व्यवस्था पर कई सवाल खड़े कर दिए हैं। अब इस मुद्दे को लेकर विपक्षी गठबंधन INDIA Bloc ने बड़ा कदम उठाने की तैयारी कर ली है।

INDIA गठबंधन ने साफ कहा है कि यह हमला सिर्फ आतंकवाद नहीं, बल्कि सरकार की विफलता का प्रतीक है। इसलिए संसद का विशेष सत्र बुलाया जाए और देश को बताया जाए कि आखिर आतंकवाद से लड़ने की नीति क्या है।

पहलगाम हमले ने क्यों मचाया राजनीतिक तूफान

 

पहलगाम हमले में एक 35 वर्षीय महिला और उसकी 10 साल की बेटी की मौत की खबर ने पूरे देश को गमगीन कर दिया है। तमिलनाडु के थुवरनकुरिची जिले के यागापुरम समथुवापुरम की रहने वाली उलगयी उर्फ उलगनायकी और उनकी बेटी जयश्री की मौत से यह साबित हो गया कि अब आतंकवादी हमलों का शिकार कोई भी बन सकता है – चाहे वो किसी भी राज्य से क्यों न आया हो।

इस दर्दनाक घटना ने पूरे देश को झकझोर कर रख दिया। विपक्षी पार्टियों ने इसे केंद्र सरकार की सुरक्षा नीति की विफलता करार दिया है और इसके खिलाफ संसद में सीधी बहस की मांग की है।

INDIA गठबंधन की रणनीति क्या है

 

INDIA Bloc – जिसमें कांग्रेस, आप, तृणमूल, राजद, सपा और अन्य क्षेत्रीय दल शामिल हैं ने इस हमले को लेकर एक सुर में मांग की है कि सरकार इस पर खुली चर्चा करे। उनका कहना है कि संसद सत्र के दौरान यह मुद्दा दरकिनार नहीं किया जा सकता क्योंकि यह सीधे तौर पर राष्ट्रीय सुरक्षा और आम नागरिकों की जान से जुड़ा मामला है।

गठबंधन नेताओं का कहना है कि संसद का विशेष सत्र बुलाया जाए, जिसमें प्रधानमंत्री खुद आकर जवाब दें कि इस तरह के हमलों को कैसे रोका जाएगा और अब तक क्या कदम उठाए गए हैं। उनका तर्क है कि जब देशभर से श्रद्धालु अमरनाथ यात्रा के लिए निकल रहे हैं, तो ऐसी घटनाएं जनता का भरोसा कमजोर करती हैं।

सरकार की तरफ से क्या प्रतिक्रिया आई

सरकार की ओर से अब तक इस मांग पर कोई आधिकारिक प्रतिक्रिया नहीं आई है, लेकिन सूत्रों के अनुसार केंद्र इस मांग पर विचार कर सकता है। गृह मंत्रालय पहले ही इस हमले की जांच एनआईए को सौंप चुका है और सुरक्षा व्यवस्था की समीक्षा के लिए उच्च स्तरीय बैठक भी हो चुकी है।

हालांकि विपक्ष का कहना है कि यह सिर्फ दिखावा है। जब तक संसद में खुली बहस नहीं होती और देश को भरोसा नहीं दिलाया जाता, तब तक यह सिर्फ एक औपचारिकता मानी जाएगी।

 

कश्मीर की स्थिति और अमरनाथ यात्रा पर असर

हमले के बाद सुरक्षा एजेंसियों ने कश्मीर घाटी में हाई अलर्ट घोषित कर दिया है। पहलगाम, अनंतनाग और आसपास के इलाकों में तलाशी अभियान चलाया जा रहा है। अमरनाथ यात्रा के रूट पर भी अतिरिक्त बल तैनात किए गए हैं।

कई यात्री डरे हुए हैं और कुछ ने यात्रा स्थगित भी कर दी है। खासकर दक्षिण भारत से आने वाले श्रद्धालुओं में डर का माहौल देखा गया है, क्योंकि हमले में जान गंवाने वाली महिला और बच्ची तमिलनाडु से थीं। यह बात और भी गंभीर हो जाती है कि इनकी सुरक्षा को लेकर कोई अलर्ट पहले से नहीं था।

राजनीतिक माहौल और आगे की दिशा

INDIA Bloc के इस कदम को आगामी लोकसभा चुनाव की रणनीति से भी जोड़कर देखा जा रहा है। विपक्ष पहले से सरकार को राष्ट्रीय सुरक्षा और जम्मू-कश्मीर के हालात को लेकर घेर रहा था, और अब इस हमले ने उन्हें और मजबूती दे दी है।

 

यह देखना दिलचस्प होगा कि क्या सरकार विपक्ष की इस मांग को मानते हुए संसद का विशेष सत्र बुलाएगी या फिर इसे सिरे से नकार देगी। लेकिन इतना तय है कि यह मुद्दा अब सिर्फ कश्मीर तक सीमित नहीं है, यह पूरे देश की सुरक्षा और एकता से जुड़ा सवाल बन गया है।

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